चौथा बिफ़्फ़ फेस्टिवल । सार्थक सिनेमा के साथ जुड़ी देश विदेश से अनेक फ़िल्मी हस्तियाँ
बॉलीवुड इंटरनेशनल फ़िल्म फेस्टिवल सीज़न 4 का सफ़ल आयोजन 20 जनवरी को मुंबई में हुआ। 20 जनवरी को हुए इस एक दिवसीय आयोजन में देश-विदेश से आईं अनेक शख्सियतें जुड़ीं। फेस्टिवल में जहाँ देश विदेश की बेहतरीन फ़िल्में, शॉर्ट फ़िल्म, मोबाइल फ़िल्म, स्टूडेंट्स फ़िल्म, डॉक्युमेंट्रीज़ व म्युज़िक वीडियो दिखाए गए वहीं इस मंच से फ़िल्म जगत की अनेक महान हस्तियों से रूबरू होने का अवसर भी प्राप्त हुआ।
डॉ तबस्सुम जहां
बॉलीवुड इंटरनेशनल फ़िल्म फेस्टिवल सीज़न 4 का सफ़ल आयोजन 20 जनवरी को मुंबई में हुआ। 20 जनवरी को हुए इस एक दिवसीय आयोजन में देश-विदेश से आईं अनेक शख्सियतें जुड़ीं। फेस्टिवल में जहाँ देश विदेश की बेहतरीन फ़िल्में, शॉर्ट फ़िल्म, मोबाइल फ़िल्म, स्टूडेंट्स फ़िल्म, डॉक्युमेंट्रीज़ व म्युज़िक वीडियो दिखाए गए वहीं इस मंच से फ़िल्म जगत की अनेक महान हस्तियों से रूबरू होने का अवसर भी प्राप्त हुआ।
बता दें कि बॉलीवुड इंटरनेशनल फ़िल्म फेस्टिवल तीन साल से लगातार सफलता की ऊंचाइयों को छू रहा है। बॉलीवुड एक्टर यशपाल शर्मा एवं बॉलीवुड एक्टर, डायरेक्टर प्रतिभा शर्मा इसकी संस्थापक हैं। फेस्टिवल में आईं बेस्ट फ़िल्म तथा अन्य बेस्ट कैटेगरी को चुनने के लिए पाँच निर्णायक मंडल को नियुक्त किया गया है। इस निर्णायक मंडल में देश विदेश से फ़िल्म समीक्षक व नेशनल अवार्ड प्राप्त हस्तियाँ शामिल हैं। जिसमे इंडिया के अजीत राय, धर्मेंद्र नाथ ओझा, नंदिता पुरी और बांग्ला देश के डायरेक्टर तौक़ीर अहमद शामिल हैं। तीन सालों से अनवरत होने वाले इस फेस्टिवल का संचालन इस बार भी मुंबई के वेदा कुनबा थियेटर अंधेरी वेस्ट में हुआ।
फेस्टिवल का आरंभ दीप प्रज्ज्वलन के साथ हुआ जिसमें यशपाल शर्मा प्रतिभा शर्मा और अविनाश दास ने दीप प्रज्वलन किया इस दौरान मंच बॉलीवुड एक्टर शिशिर शर्मा, अखिलेन्द्र मिश्रा, राज ज्युतशी, नंदिता पुरी एना बोल्मार्क, रामपाल बल्हारा समेत बॉलीवुड के अनेक गणमान्य हस्तियाँ मौजूद थीं। मंच से ही यशपाल शर्मा और प्रतिभा शर्मा दोनों ने ही बताया कि आज के कमर्शियल दौर में बॉलीवुड इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल का एक ही उद्देश्य है कि दर्शकों तक ज़्यादा से ज़्यादा स्तरीय व बेहतरीन फ़िल्में पहुँचाएं और लगातार तीन साल हुए बिफ़्फ़ फेस्टिवल ने यह अभूतपूर्व सफल प्रयास करके दिखा दिया है। प्रोग्राम में आगे गत वर्ष इस दुनिया को छोड़ कर गए सिनेमा जगत की हस्तियों को याद करके उन्हें श्रद्धांजलि दी गई। जिसमें सतीश कौशिक, गूफी पेंटल, जूनियर महमूद, बीरबल आदि शामिल हैं।
बिफ़्फ़ का आग़ाज़ बहुत ही शानदार रहा। सुबह 10 बजे से शाम से 7 बजे तक दिखाई जाने वाली फिल्मों ने दर्शकों को बांधे रखा। फ़िल्मों का आगाज़ डायरेक्टर विपन महावत की बहुत ही प्यारी और खूबसूरत राजस्थानी फ़िल्म 'परीक्षा' से हुआ। इसके बाद स्पेन की शार्ट फ़िल्म 'इट्स टू लेट' दिखाई गई जिसके डायरेक्टर पैड्रो मोराल्के थे। लंच के बाद डायरेक्टर बालेन्दु डी कौशिक की शार्ट डॉक्यूमेंट्री 'काशी मनिकर्निका : रहस्य और मोक्ष का मंचन हुआ। इसके बाद अमेरिका की बहुत ही प्यारी डायरेक्टर कायली टेन की स्टूडेंट फ़िल्म 'हैड इन द क्लाउड्स' ने दर्शकों को ख़ूब गुदगुदाया। इंडिया के डायरेक्टर प्रशांत एस नायका के म्युज़िक वीडियो 'कप्पे रागा: द सॉन्ग ऑफ़ कुंबरा' ने हॉल में बैठे लोगों को झूमने पर मजबूर कर दिया। इसके बाद इंडिया से डायरेक्टर मुदस्सिर ज़फर भट्ट की मोबाइल फ़िल्म "द वर्ल्ड हैज़ एन डेथ' दिखाई गई। लॉन्ग शॉर्ट फ़िल्म के अंतर्गत ऑस्ट्रेलिया की डायरेक्टर योगी देवगन की मार्मिक फ़िल्म 'द साइलेंट एस्केप' ने दर्शकों को भावविभोर कर दिया। लॉन्ग शॉर्ट फ़िल्म में ही इंडिया की "हिरणचा अंबा' दिखाई गई जिसके डायरेक्टर अभिजीत पचंगाने हैं। इंडिया से ही शॉर्ट फ़िल्म में निशा लूथरा की प्यारी सी फ़िल्म 'बृन्दा' पेश की गई। स्टूडेंट फ़िल्म के अंतर्गत डायरेक्टर यांग ज़िमिक निर्देशित 'साइलेंस इन द लाइब्रेरी' को दिखाया गया। आगे स्पेन से ही डायरेक्टर थयूगो क्यूरा की शॉर्ट फ़िल्म 'सोशियो' दिखाई गई। फ्रांस से सेबास्चियन सालाज़र क्लारो की शॉर्ट फ़िल्म 'अलमा' को दर्शकों ने ख़ूब सराहा। इसके बाद इंडिया से डायरेक्टर प्रसांत मुरली पदमानभान की फ़िल्म 'बटरफ्लाई-गर्ल-85' का पर्दापण हुआ।
एक दिवसीय बिफ़्फ़ फेस्टिवल के आखिरी हिस्से में बेस्ट कैटेगरी को अवार्ड से नवाज़ा गया। जिसके अंतर्गत बेस्ट म्यूजिक वीडियो का अवार्ड निर्देशक प्रशांत नायका को उनके म्युज़िक एल्बम 'काप्पा रागा' के लिए मिला।
बेस्ट मोबाइल फिल्म के लिए मुदस्सिर ज़फर भट्ट को उनकी फिल्म 'द वर्ल्ड हैज़ एंड डेथ' को अवार्ड दिया गया।
बेस्ट इंडियन स्टूडेंट फिल्म के लिए यांग ज़िमिक को उनकी फिल्म 'साइलेंस ऑफ़ द लाइब्रेरी' को अवार्ड मिला।
बेस्ट स्टूडेंट इंडियन फिल्म के लिए निर्देशक एलिया जॉर्ज की 'कुरुंबा' ने अवार्ड जीता।
वही फॉरेन स्टूडेंट फिल्म के लिए कायली टेन को "हेड इन द क्लाउड" अमेरिकी फ़िल्म को अवार्ड दिया गया। तथा अमेरिका के ही 'रिक्क वांट्स' मूवी के लिए सेथ जोसफ मोरेलैंड के नाम हुआ।
बेस्ट एनीमेशन मूवी के लिए मलेशिया की द सेवेंथ नाईट माओ माओ' के डायरेक्टर अहलूंग, चाइना की 'फिज़िक्स 3' के लिए डायरेक्टर युल्लिन हुआंग यी क्सिंग और बेस्ट कैटेगरी पुर्तगाल की एनीमेशन मूवी 'अ लेंडा दा नुवेम बैरता 2' के डायरेक्टर मारिया टेरेसा मुरेर को दिया गया।
बेस्ट डॉक्यूमेंट्री के लिए इंडिया से बालेंन्दु डी कौशिक को काशी मणिकर्णका के लिए अवार्ड दिया गया वहीं फॉरेन में कनाडा के 'रूट्स डिस्पोरा एंड वॉर' के लिए निर्देशक फिल कॉमेऊ ने जीता।
बेस्ट लॉन्ग शॉर्ट फ़िल्म कैटेगरी में तीसरा पुरुस्कार 'मेलानिन मूस' के लिए इंडिया से डायरेक्टर जीतिन जॉर्ज सेविर को,द्वितीय पुरस्कार 'हिरणचा अंबा' के लिए अभिजीत पंचगाने को तथा पहला पुरुस्कार ऑस्ट्रेलिया की मूवी 'अ साइलेंट एस्केप' के लिए निर्देशक योगी देवगन ने जीता।
बेस्ट डायरेक्टर का अवार्ड योगी देवगन को "अ साइलेंट एस्केप" के लिए दिया गया। वहीं बेस्ट एक्टर "मर्चेंट ऑफ़ विनाशा" के लिए जैकी भावसर ने जीता। लॉन्ग शॉर्ट कैटेगरी में बेस्ट एक्ट्रेस के लिए सेवा चवन को हिरणचा अंबा के लिए पुरुस्कार दिया गया
शॉर्ट फ़िल्म के लिए तीसरा पुरुस्कार "अलमा" के निर्देशक 'सेबास्चियन सलाज़र क्लानो' और फ़िल्म इंडिया की "बृन्दा" के लिए डायरेक्टर निशा लूथरा ने अपने नाम किया वहीं दूसरा अवार्ड फ़िल्म "सोशियो" के लिए थ्यूगो लउरा ने जीता। बेस्ट शॉर्ट प्रथम का अवार्ड "इंटर द रूम" अमेरिका के डायरेक्टर हैरी वाडमान ने हासिल किया।
बेस्ट डायरेक्टर के लिए 'अलमा' के डायरेक्टर "सेबास्चियन सलाज़र क्लानो" को चुना गया।
बेस्ट एक्टर फॉरेंन के लिए स्पेन से 'लास्ट काऊबॉय' के 'पाबलो वाडीज' ने अवार्ड जीता वहीं बेस्ट फॉरेंन एक्ट्रेस के स्पेन से ही 'अलमा' फ़िल्म के लिए कांस्टेनज़ा क्विरोगा एंड्रॉइड ने अवार्ड अपने नाम किया।
बेस्ट एक्ट्रेस इंडिया के लिए वृंदा फ़िल्म की 'निशा लूथरा' का चयन किया गया।
बेस्ट फीचर फ़िल्म कैटेगरी का अवार्ड द्वितीय श्रेणी में "बटरफ्लाई _गर्ल_85" के लिए प्रशांत मुरली पदमानभान तथा प्रथम पुरुस्कार "परीक्षा" मूवी के लिए डायरेक्टर विपिन मालवत को दिया गया।
बेस्ट एक्टर का अवार्ड "परीक्षा" फ़िल्म के हीरो मुकुंद ने जीता वहीं बेस्ट एक्ट्रेस के लिए बटरफ्लाई गर्ल धन्या नाथ को पुरुस्कार दिया गया।
बेस्ट फाउंडर चवाइस वाइस के लिए चेतन कौशिक को उनकी फ़िल्म 'फांस' के लिए अवार्ड दिया गया।
इसके अलावा वेदा कुनबा के मालिक संपत सिंह राठौर, समाज सेवक जतिन और मशहूर पुस्तक विक्रेता शरद सिंह जी को सम्मानित किया गया
इस प्रोग्राम की सबसे खास बात यह रही कि किसी फ़िल्म फेस्टिवल के इतिहास में यह पहली बार ऐसा हुआ है कि सिनेमा पर आधारित किताब को भी फेस्टिवल का हिस्सा बनाया गया है। इसीलिए बुक ऑफ सिनेमा कैटेगरी में बुक्स ऑन सिनेमा 'प्योर एविल बाय बालाजी विट्टल' 'संजीव कुमार : द एक्टर वी ऑल लव्ड बाय रीता रामामुर्थ्य गुप्ता एंड उदय जरीवाला' तथा 'किशोर कुमार : द अल्टीमेट बायोग्राफी' बाय अनिरुद्ध भट्टचार्जी, पार्थिव धर को अवार्ड दिया गया।
फेस्टिवल के अंत में निर्णायक मंडल के सदस्य तौक़ीर अहमद, अजीत राय, नंदिता पुरी और धर्मेंद्र नाथ ओझा को सम्मानित किया गया। इसके बाद बिफ़्फ़ की पूरी टीम को साल भर दिए उनके सहयोग के कारण सम्मानित किया गया।
एक दिवसीय इस फेस्टिवल का लाजवाब संचालन बिफ़्फ़ की एंकर 'डॉ अल्पना सुहासिनी, दलबीर सिंह बंजारा तथा 'मोना शाह' ने किया। हिमानी ऋषिराज बेहतरीन कथक डांस परफॉर्मेंस ने समाँ बांध दिया। बॉलीवुड गायिका अनुपमा श्रीवास्तवा ने अपने गाने से फेस्टिवल में चार चाँद लगा दिए। वहीं हरियाणवी डांसर सोनिया सरताज ने हॉल में उपस्थित लोगों को थिरकने पर मजबूर कर दिया। कार्यक्रम के दौरान बॉलीवुड एक्टर आशीष विद्यार्थी, एक्टर सुमित्रा हुड़्डा, डायरेक्टर राजेश बब्बर, असीम सिन्हा, वंदना भाटिया, एक्टर आशित चटर्जी, एक्टर रवि झंकाल, फ़िल्म समीक्षक अजय ब्रह्मात्मज भी मौजूद रहे।