राजपाल सिंह सिद्धू अवार्ड के लिए आवेदनों की मांग
वातावरण सुरक्षा तथा पंजाब के स्थाई विकास के क्षेत्र में योगदान डालने वाले व्यक्तियों को दिया जाता है अवार्ड
चंडीगढ़: पंजाब में हर साल बुद्धिमान विद्याॢथयों को 50-50 हजार का ‘दृष्टि पंजाब अवार्ड’ देने वाली कैनेडियन गैर-सरकारी संस्था ‘दृष्टि पंजाब’ द्वारा दूसरे ‘राजपाल सिंह सिद्धू अवार्ड’ के लिए नामांकन की मांग की है।
संस्था के संचालक एडवोकेट हरमिंदर ढिल्लों ने दृष्टि पंजाब द्वारा जारी एक प्रैस बयान में बताया कि इस अवार्ड में 50 हजार रुपए की राशि पुरस्कार के रूप में दी जाती है। यह अवार्ड वातावरण जागरूकता, सुरक्षा तथा पंजाब के स्थाई विकास के लिए काम करने वाले व्यकित या संस्था को हर साल दिया जाता है। उन्होंने बताया कि इस अवार्ड को हासिल करने के लिए आवेदन तिथि 1 फरवरी 2020 है तथा आवेदन चंडीगढ़ स्थित कार्यालय मीडिया लहर, एस.सीओ नंबर 56, सैकेंड फ्लोर, सैक्टर-47-सी में भी पोस्ट कर सकते हैं।
कौन है राजपाल सिद्धू?
ढिल्लों ने बताया कि मरहूम राजपाल सिद्धू ने अपनी पूरी जिंदगी पंजाब में पंछियों के अध्यन्न तथा पेटिंगज बनाने के लिए समॢपत कर दी। बहुत सारी शिक्षा संस्थाओं एवं वैज्ञानिकों ने उनके अध्यन्न को मान्यता दी है। सिद्धू पंजाब के वडाला के रहने वाले थे, जिन्होंने पंजाब में दिखने वाले 250 के करीब पंछियों का अध्यन्न किया तथा चित्र बनाए। इस अध्यन्न के लिए वह पंजाब के हर कौने में गए तथा रौचक खोज को कई दशक लगाकर अंजाम दिया।
पहला अवार्ड किसको दिया गया?
पहला राजपाल सिंह सिद्धू यादगारी अवार्ड बरनाला जिले के गांव धौला के यूथ क्लब को चंडीगढ़ में हुए दृष्टि पंजाब अवार्ड समारोह दौरान दिया गया था। संदीप सिंह नामक होनहार नौजवान की अगुवाई में यह नौजवान पक्षियों के लिए घौंसले बनाकर लगाते हैं। इनके घर के कंट्रीट के साथ बनने के कारण चिडिय़ां जैसे घरेलू पक्षियों को बचाने का इलाके में अच्छा कार्य किया है। इन्होंने पराली जलाने के मौके जलते जीव-जंतूओं को बचाने के लिए भी विशेष मुहिम चलाई है। इसके अलावा यह लोगों को पक्षियों प्रति जागरूक करने के लिए कार्य कर रहे हैं। इनके कार्य को बीबीसी न्यूज सहित कई टीवी चैनलों तथा अखबारों ने विशेष कवरेज दी है।