साहित्य चेतना समाज, गाजीपुर, के तत्वावधान में 'चेतना-प्रवाह' कार्यक्रम का हुआ आयोजन

कार्यक्रम में हुआ कवि उपेन्द्र यादव के द्वितीय काव्य-संग्रह 'एक मुश्किल समय में' का भव्य विमोचन और कवि-सम्मेलन

साहित्य चेतना समाज, गाजीपुर, के तत्वावधान में 'चेतना-प्रवाह' कार्यक्रम का हुआ आयोजन

साहित्य चेतना समाज, गाजीपुर, उत्तर प्रदेश के तत्वावधान में 'चेतना-प्रवाह' कार्यक्रम के अंतर्गत कवि उपेन्द्र यादव के द्वितीय काव्य-संग्रह 'एक मुश्किल समय में' का भव्य विमोचन-समारोह एवं कवि-सम्मेलन राजकीय सिटी इण्टर कॉलेज, गाजीपुर, उत्तर प्रदेश के 'राजदीप सभागार' में आयोजित किया गया। उपेन्द्र यादव अमृतसर में रेलवे में टेक्नीशियन के पद पर कार्यरत हैं।

कार्यक्रम का शुभारम्भ माँ वीणापाणि सरस्वती के पूजन-अर्चन और दीप-प्रज्वलन से हुआ। कवि कामेश्वर द्विवेदी की सरस्वती वंदना के उपरान्त संस्था के संगठन सचिव प्रभाकर त्रिपाठी ने आगंतुकों का वाचिक स्वागत किया। तत्क्रम में मंचस्थ साहित्यिक विभूतियों का माल्य, प्रतीक चिह्न एवं अंगवस्त्रम् के द्वारा स्वागत किया गया। विद्वत्जन के करकमलों द्वारा पुस्तक-लोकार्पण के उपरान्त कवि उपेन्द्र यादव ने अपनी रचना-प्रक्रिया पर प्रकाश डालते हुए अपनी कविताओं का वाचन किया।

कार्यक्रम के प्रथम सत्र में पुस्तक पर परिचर्चा हुई। डॉ. अक्षय पाण्डेय ने पुस्तक-प्रकाशन हेतु कवि को स्नेहिल बधाई के साथ काव्य-संग्रह का आधारभूत परिचय देते हुए इसमें संगृहीत कविताओं को विविध संदर्भों को प्रकाशित करने वाली श्रेष्ठ समकालीन कविता कहा। साहित्य चेतना समाज के संस्थापक अमरनाथ तिवारी 'अमर' ने 'चेतना-प्रवाह' के मूल उद्देश्य को  बताते हुए वर्तमान समय में समाज को सार्थक साहित्य के प्रति जन-जागृति की जरूरत को रेखांकित किया। साथ ही कवि को पुस्तक-प्रकाशन के लिए भूरिशः बधाई दी। 

डॉ. सन्तोष कुमार तिवारी ने इस कृति की कविताओं को मनुष्यता की तलाश एवं मानवीय मूल्यों की पुनर्स्थापना की दिशा में सार्थक प्रयास बताया।कविताओं में विषय-वैविध्य एवं विमर्ष-वैविध्य को दर्शाते हुए कविताओं की गहरी अर्थ-व्यंजकता की ओर लोगों का ध्यान आकृष्ट किया साथ ही कविताओं में शब्दों के सुगठन एवं संयोजन की प्रशंसा की। इसी क्रम में डाॅ. ऋचा राय ने कहा कि 'एक मुश्किल समय में' की कविताएं अपने समय से टकराती हैं। विविध विषयों पर केंद्रित कविताएं सही अर्थों में अपने समकाल को व्यंजित कर रहीं हैं।अर्थवत्ता के साथ ही सरसता, सहजता और सरलता जैसे गुण-धर्म किसी भी कविता को सार्थक एवं श्रेष्ठ कविता बना देते हैं। इस दृष्टि से उपेन्द्र यादव आने वाले समय में एक श्रेष्ठ कवि के रूप पहचाने जाएंगे।

कार्यक्रम के द्वितीय सत्र में गाजीपुर नगर के वरिष्ठ कवि धर्मदेव यादव की अध्यक्षता में एक सरस काव्यगोष्ठी का आयोजन सुसम्पन्न हुआ। जिसमें धर्मदेव यादव, कामेश्वर द्विवेदी, डॉ. अक्षय पाण्डेय, अमरनाथ तिवारी 'अमर', नागेश मिश्र, विजय कुमार मधुरेश, हरिशंकर पाण्डेय, गोपाल गौरव, बादशाह राही, डॉ. सन्तोष कुमार तिवारी, दिनेशचंद्र शर्मा, शालिनी श्रीवास्तव, शलोनी उपाध्याय, कन्हैया गुप्त, चिदाकाश 'मुखर' एवं विकास यादव 'विजेता' ने अपनी कविताओं से श्रोताओं को भाव-विभोर कर दिया।

श्रोता के रूप में जयराम यादव, मावल यादव, आलोक राय, शंकर यादव, डॉ. सूर्यनाथ पाण्डेय, विंध्याचल यादव, मुसाफिर, विजय तिवारी, सहजानंद राय, डॉ. कालीशंकर सिंह, अरविंद यादव, उपेन्द्र मुन्ना, चन्द्रिका यादव, ऋषि, सचिन, पवन, मुकेश, सुरेशचंद्र पाण्डेय, सिद्धार्थ शरण श्रीवास्तव तथा सन्तोष जायसवाल आदि उपस्थित रहे।

कार्यक्रम का सफल संचालन सुपरिचित नवगीतकार डॉ. अक्षय पाण्डेय ने एवं धन्यवाद ज्ञापन संस्था के संस्थापक अमरनाथ तिवारी 'अमर' ने किया।