राष्ट्रीय पंचायती राज दिवस पर गांव माड़ौदी से देश के पहले नशा मुक्त घर अभियान का शुभारंभ

राष्ट्रीय पंचायती राज दिवस पर गांव माड़ौदी से देश के पहले नशा मुक्त घर अभियान का शुभारंभ

रोहतक, गिरीश सैनी। राष्ट्रीय पंचायती राज दिवस के उपलक्ष्य में एमडीयू ने गांव माड़ौदी रांगड़ान में नशा मुक्त घर अभियान प्रारंभ किया। यूनिवर्सिटी आउटरीच द्वारा शुरू किए गए इस अनूठे अभियान के तहत देश की पहली ग्राम सभा का आयोजन किया गया।

 

नशा मुक्त घर अभियान का आरंभ करते हुए कुलपति प्रो. राजबीर सिंह ने इस अभियान को विश्व की आवश्यकता बताया और इसे परिवार और समाज की सुरक्षा में एक अहम कदम बताया। उन्होंने कहा कि आज की वैश्विक परिस्थितियों में नशा मुक्त घर अभियान केवल एक सामाजिक प्रयास नहीं, बल्कि समय की सबसे बड़ी जरूरत बन चुका है। उन्होंने कहा कि नशा व्यक्ति के शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य को नुकसान पहुंचाने के साथ ही पूरे परिवार और समाज की जड़ों को भी खोखला करता है। कुलपति ने कहा कि नशामुक्त परिवारों को बढ़ावा एवं प्रोत्साहन देने की जरूरत है, ताकि समाज में ये रोल मॉडल बनें। उन्होंने कहा कि इस अभियान से एमडीयू से संबद्ध महाविद्यालयों के विद्यार्थियों को जोड़ा जाएगा।

 

भारतीय पुनर्वास परिषद की अध्यक्षा डा. शरणजीत कौर ने बतौर विशिष्ट अतिथि शिरकत करते हुए एमडीयू द्वारा संचालित किए इस नशा मुक्त घर अभियान की सराहना की। उन्होंने ग्रामीणों से घरों में नशा न करने, बच्चों को नशे से दूर रखने, नशा पीड़ित लोगों की सहायता करने, काउंसलिंग और पुनर्वास केन्द्रों से उन्हें जोड़ने और इस तरह के जागरूकता कार्यक्रम आयोजित करने की बात कही।  
कार्यक्रम की अध्यक्षता गांव की सरपंच मौसम ने की। उन्होंने कुलपति प्रो. राजबीर सिंह और एमडीयू का इस महाअभियान की शुरूआत के लिए ग्राम पंचायत माड़ौदी को चुनने पर आभार जताया। उन्होंने कहा कि गांव के लोगों को इस अभियान से जोडक़र ज्यादा से ज्यादा घरों को नशा मुक्त बनाया जाएगा। एमडीयू आउटरीच के प्रोफेसर इन प्रैक्टिस तथा समाजसेवी सुनील जागलान ने बतौर माडरेटर कार्यक्रम में ग्रामीणों को नशामुक्त घर अभियान से जुडऩे के लिए प्रेरित किया। यूनिवर्सिटी आउटरीच निदेशिका प्रो. अंजू धीमान ने कार्यक्रम का समन्वयन किया। ग्रामीणों ने नशा मुक्त घर अभियान से जुड़ कर पूरे गांव को नशा मुक्त बनाने का संकल्प लिया।


कार्यक्रम में एमडीयू के ग्राम सारथियों (आउटरीच वालंटियर्स) ने ग्राम सभा का अभ्यास मॉडल प्रदर्शित किया। यूआईईटी के प्रिंस कुमार ने ग्राम सचिव की भूमिका तथा छात्रा यांशि देसाई ने हरियाणवी सरपंच की भूमिका का निर्वहन किया। उल्लेखनीय है कि गांव माड़ौदी में लगभग 450 घरों में से केवल 22 घर ही नशामुक्त हैं। गांव की जनसंख्या 2800 है। यह सर्वे विश्वविद्यालय के आउटरीच के वालंटियर्स द्वारा किया गया है, जिनका रजिस्ट्रेशन ग्राम सचिव सूरज सैनी ने गांव की कार्यवाही रजिस्टर में किया है।