परिवर्तन यात्रा : किरमारा की चौपाल
आमदनी दुगुनी नहीं की , तीन काले कानून दिये: अभय चौटाला
-कमलेश भारतीय
इनेलो के राष्ट्रीय महासचिव और ऐलनाबाद से इनेलो के इकलौते विधायक अभय चौटाला की परिवर्तन यात्रा को जब से हिसार क्षेत्र में दाखिल हुई है तब से देखने समझने और सुनने का अवसर मिल रहा है । कभी सुबह चाय की प्याली पर तो कभी एयरकंडीशन बस में तो कभी यात्रा से थोड़ा हटकर ! लगातार । बालावास मे पहली बार दोपहरी को बार एसोसिएशन के पूर्व प्रधान प्रदीप वाजिया मिलाने ले गये थे और भूपेंद्र कस्बां ने जो फोटो उस दिन खींची वह खूब वायरल हुई । फिर बास, पेटवाड़ और कितने ही गांवों में यात्रा को दूर निकट से देखता आया । बारिश में , धूप में , छांव में तो कभी किसी समर्थक के घर चाय पानी पर ! हरे रंग के झंडे, कारों का काफिले तो ढोल नगाड़े और फूलों के हार ! यात्रा चल रही है और लगातार नये से नये लोग जुड़ते दिख रहे हैं -कुछ उत्सुकता है तो कुछ समर्थक ! घूंघट निकाले महिलायें और छोटे छोटे बच्चे ! बूढ़े बुजुर्ग , चौपाल के आसपास दिखते हैं । यही दृश्य कल शाम बड़े गांव किरमारा मे देखने को मिला । सबसे पहले अभय चौटाला की हरे रंग के लड्डुओं से तोला गया और वही लड्डू बांटे गये । चौपाल पर अभय चौटाला अपने करीबी सतबीर सिसाय , उमेद लोहान और अन्य नेताओं के साथ मंच पर हैं । स्वागत् सत्कार के बाद अभय चौटाला माइक थाम लेते हैं और अपने चिरपरिचित अंदाज में बीच बीच में सवाल जवाब के साथ सिलसिला शुरू करते हैं ! वही अंदाज जो न्याय युद्ध यात्रा में अपने दादा चौ देवीलाल से सीखा तब इक्कीस साल के थे अभय ! वही सवाल जवाब कि अंदाज ! शुरूआत में निशाना प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर कि बताओ आपकी आमदनी दुगुनी करने की कही थी, दुगुनी हो गयी होगी ? नहीं ! आपकी आमदनी तो दुगुनी हुई नहीं तीन काले कानून जरूर थोपने की कोशिश की भला हो जिन कानूनों को हरियाणा , पंजाब , यूपी और राजस्थान के किसानों ने एक साल से ऊपर आन्दोलन चला कर प्रधानमंत्री को इन्हे वापस लेने की घोषणा करने न मजबूर कर दिया । एमएसपी फिर भी रह गयी । आपको याद होगा मैंने इसके विरोध मे इस्तीफा दिया था विधानसभा से ! पर आपने फिर मुझे विधानसभा पहुंचाया !
अब खेती महंगी हो गयी , खर्च दुगुना हो गया , आमदनी तो दुगुनी हुई नहीं । भ्रष्टाचार बढ़ा , बेरोजगारी बढ़ी , अपराध बढ़ा और नशा बढ़कर युवाओं को अपनी लपेट में ले रहा है !
फिर एकदम किरमारा की स्थानीय समस्याओं पर कि क्या आपके क्षेत्र के विधायक ने जो श्रेममंत्री भी हैं , कोई रोजगार दिया आपके बच्चों को ? हमने अपने राज में इस गांव के 88 युवाओं को रोजगार दिया जिनके लिये ओमप्रकाश चौटाला को षड्यंत्र के तहत दस साल जेल भुगतनी पड़ी ! हम आगे भी रोजगार देंगे चाहे कुछ भी भुगतना पड़े!
पहले दुष्यंत ने नारा लगाया कि भाजपा को यमुना पार कर देंगे और फिर सरकार भी उसी भाजपा के साथ बनाई । पहले हमें यानी परिवार को धोखा दिया और फिर आपको ! मै तो कहता हूं कि चौ देवीलाल की फोटो दिखाकर धोखा दिया आपको की नहीं ? विधानसभा में भी कहता हूं कि दुष्यंत से बड़ा कोई जयचंद नहीं ! चौ देवीलाल की नीतियों के साथ धोखा किया । अब कोई जजपा में बच रहा है ?
फिर सरपंचों की दुखती रग पर हाथ रखते कहते हैं कि गांव के विकास के लिये कुछ पैसे मिले ? नहीं । बदले में अपमान और लाठीचार्ज मिला । इस तरह हर वर्ग दुखी है । वृद्धों की पेशन बढ़ाने की बजाय काट दी । युवाओं को नौकरी नहीं । न किसानों को सन् 2020 है फसलों का मुआवजा मिला ! बैठे हो न हिसार सचिवालय के आगे धरने पर ! कौन आपकी तकलीफ सुनता है जनसंवाद मे ? टेकन देकर बुलाया जाता है ।
फिर अपने तीन वादे -वृद्धावस्था पेन्शन 7500 रुपये , बेरोजगारी भत्ता 21000 रुपये और महिलाओं को एक गैस सिलेंडर मुफ्त और 1100 रुपये नून मिर्च के लिये !
बात खत्म और परिवर्तन करो का आह्वान ! फिर चले प्रसिद्ध मंदिर कामेश्वर धाम तक पदयात्रा करते । शाम के समय पूजा अर्चना और पदयात्रा कल के अंतिम पड़ाव पर ! अंधेरे के बीच रोशनियां जगमगाने लगी हैं । हां, पहले पेटवाड़ में तरबूज खिलाये गये और अब किरमारा मे हरे रंग के लड्डू बांटे गये यानी रंग चढ़ने लगा है धीरे धीरे आधी यात्रा में ! कल हिसार क्षेत्र मे यात्रा का अंतिम पड़ाव और फिर फतेहाबाद की ओर !