निजी अस्पताल आम जनता को जल्द करवाए ओपीडी की सेवा मुहैया: सुनील मेहरा
पंजाब प्रदेश व्यापार मण्डल के नेताओं ने वीडियो कॉन्फ्रेसिंग के जरिए कैबिनेट स्वास्थ्य मंत्री ओपी सोनी से की बातचीत
लुधियाना: करोना वायरस के कारण आज पंजाब में चिकित्सा सुविधाओं की कमी आ गई है।करोना के डर के कारण लोग घरों में दुबके पड़े हैं। कर्फ्यू की घोषणा के बाद से 7500 निजी अस्पतालों व नर्सिंग होम्स में 85 फीसदी अस्पतालों की ओपीडी बंद है। इस कारण गायनी, अस्थमा, ऑर्थो और किडनी जैसे अन्य मरीजों को काफी परेशानी हो रही है, जो सरकारी अस्पतालों में जा रहे हैं। जिससे इन अस्पतालों में कई गुना दबाव बढ़ रहा है।
उक्त शब्द पंजाब प्रदेश व्यापार मण्डल के पंजाब प्रधान प्यारा लाल सेठ, राज्य महासचिव सुनील मेहरा, समीर जैन ने वीडियो कॉन्फ्रेसिंग के जरिए कैबिनेट स्वास्थ्य मंत्री ओ पी सोनी से अपने निवास स्थान पर बातचीत करते हुए कहे। उन्होंने ओ पी सोनी से प्रशासन को मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह द्वारा प्राइवेट अस्पतालों को लेकर दिए बयान को सख्ती से लागू करने को कहा जिसमें उन्होंने बड़े-बड़े प्राइवेट अस्पतालों को ओपीडी चालू ना करने पर उनका लाइसेंस रद्द करने की चेतावनी दी है। उन्होंने सोनी से मांग की है कि आज पंजाब में करोना वायरस अपने पैर पसार चुका है। ऐसे में हर इंसान अपनी जांच करवाना चाहता है। इसको लेकर स्वास्थ्य विभाग इन अस्पतालो की ओपीडी अपने अधीन कर आम जनता को स्वास्थ्य सेवाएं मुहैया करवाए।
सोनी ने उनको विश्वास दिलाया कि पंजाब के सभी जिलों में सरकार की ओर से स्वास्थ्य सेवाएं लागू की जा रही हैं जिससे जनता को इसका लाभ मिल सकेगा।
मंडल के राज्य सेक्रेटरी महिंदर अग्रवाल, जिला अध्यक्ष अरविंदर सिंह मक्कड ने प्रशासन से मांग की कि कैप्टन अमरिंदर सिंह द्वारा भेजा राशन हर जरूरतमंद तक पहुंचाने के लिए विधायक,पार्षद, ग्राम पंचायत सरपंच आदि की ड्यूटी लगाए ताकि हर किसी के पास राशन आसानी से पहुंच सके। सरकारी डिपुओं पर भी घरेलू जरूरत का सामान मुहैया करवाया जाए ताकि संकट के समय कोई भी प्रदेशवासी भूखा ना सो सके।
पंजाब प्रदेश व्यापार मण्डल ने मुख्यमंत्री से मांग की है कि दयानन्द मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल में पंजाब के सभी जिलों से मरीज अपना इलाज करवाने आते हैं। ऐसे संकट के समय इस अस्पताल की मैनेजमेंट कमेटी ने भी आपनी ओपीडी बंद की हुई है। उन्होंने कहा कि ऐसे सभी अस्पतालो पर कड़ी कार्रवाई कर उनको स्वास्थ्य विभाग के अधीन कर वहां चिकित्सा सुविधाओं को जल्द शुरू करवाया जाना चाहिए ताकि आम जनता को कुछ राहत मिल सके।