रोहतक जिले में अब तक 470.9 मीट्रिक टन धान व 1043.15 मीट्रिक टन बाजरा की खरीदः उपायुक्त अजय कुमार
रोहतक, गिरीश सैनी। उपायुक्त अजय कुमार ने बताया कि जिला की चारों मंडियों में सरकार की हिदायतों अनुसार धान व बाजरा फसलों की खरीद जारी है। अब तक जिला की मंडियों में 470.9 मीट्रिक टन धान तथा 1043.15 मीट्रिक टन बाजरा की खरीद की जा चुकी है। उन्होंने किसानों का आह्वान किया है कि वे फसल अवशेषों को आग न लगाकर इन अवशेषों का उचित प्रबंध करें।
जिला प्रशासन द्वारा इन मंडियों में किसानों को मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध करवाई गई हैं। रोहतक मंडी में 374.9 मीट्रिक टन ग्रेड-ए किस्म का धान, महम मंडी में 50.7 मीट्रिक टन 1509 किस्म का धान तथा सांपला मंडी में 45.3 मीट्रिक टन 1509 किस्म के धान की खरीद की गई है।
कलानौर मंडी में 22.1 मीट्रिक टन, महम मंडी में 708.55 मीट्रिक टन, रोहतक मंडी में 15.80 मीट्रिक टन तथा सांपला मंडी में 296.7 मीट्रिक टन बाजरा की खरीद की गई है। सरकार द्वारा धान व बाजरा की फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य घोषित किया गया है। धान की सामान्य किस्म के लिए 2300 रुपए प्रति क्विंटल, ग्रेड-ए किस्म के लिए 2320 रुपए प्रति क्विंटल तथा बाजरा की फसल के लिए 2625 रुपए प्रति क्विंटल न्यूनतम समर्थन मूल्य घोषित किया गया है।
उपायुक्त अजय कुमार ने जिला के किसानों का आह्वान किया है कि वे धान की फसल की कटाई के उपरांत फसल अवशेषों को आग न लगाएं। फसल अवशेषों को जलाने से पर्यावरण प्रदूषित होता है तथा पशुओं के लिए चारे की कमी होती है। ऐसा करने से मिट्टी में मौजूद मित्र कीट नष्ट होते है तथा भूमि की उपजाऊ शक्ति भी कमजोर होती है। किसान फसल अवशेषों का उचित प्रबंधन करें। फसल अवशेषों से पशुओं के लिए चारा भी बनाया जा सकता है तथा किसान कृषि यंत्रों की मदद से फसल अवशेषों की गांठ इत्यादि बनाकर बिक्री कर अतिरिक्त आय भी कमा सकते हैं। फसल अवशेषों को मिट्टी में मिलाकर भूमि की उपजाऊ शक्ति को भी बढ़ाया जा सकता है।